Sunday, November 7, 2010

प्यारी सी दोस्ती

इस खिली सी जिन्दगी में
कोई आये या कोई जाये
कोई फर्क नी पड़ता मुझे !
तेरे रूठ जाने के बाद
शायद यही दिलाशा मन को दी !
चाह कर भी नहीं भुला पाता हूँ
उस रब को
जिसने इतनी प्यारी सी दोस्ती दी !!

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